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इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करते समय बचे इन पांच गलतियों से
These five mistakes survived while filing income tax return

वित्त वर्ष 2019 के लिए रिटर्न फाइल करने की अंतिम तिथि 30 नवंबर है आयकर रिटर्न
फाइल करते समय हमसे कई बार जाने – अनजाने कुछ गलतियां हो जाती है और
परेशानियों का सामना करना पड़ता है हम यहां बता रहे हैं अक्सर होने वाली 5
गलतियों के बारे में……
1… व्यक्तिगत जानकारी जैसे बैंक खाता शाखा व आईएफएससी कोड आदि में गलती
नहीं होनी चाहिए अन्यथा रिफंड में देरी हो सकती है करदाता को अपने सभी बैंक खातों
की जानकारी रिटर्न में देना आवश्यक है नहीं तो विभाग यह मानते हुए कार्रवाई कर
सकता है कि तथ्यों को जानबूझकर छुपाया गया है |
2… बचत खाते एफडी पर मिलने वाले ब्याज ,शेयर की खरीद बिक्री ,म्युचुअल फंड मकान
किराए या किसी चल या अचल संपत्ति से होने वाली आय को भी बताना जरूरी है उदाहरण के
लिए सोने चांदी के आभूषण बेचने पर के गेन टैक्स लगता है पर करदाता कई बार ऐसी आय
रिटर्न में नहीं दिखाते हैं विभाग के पास इस तरह के सौदों की जानकारी आती है तो करदाताओं
की स्क्रुटनी में परेशानी होती है |
3. सही रिटर्न फॉर्म का चयन भी जरूरी है नहीं तो रिटर्न डिफेक्टिव हो सकता है फिर इसे
ठीक कराने को तय समय रीवाइफ रिटर्न भरना पड़ता है मसलन किसी वेतनभोगी के दो
मकान है इसमें एक किराए पर उठा रखा है वह रिटर्न आइटीआर -1 फॉर्म में भर देते है तो यह
गलत है एक से अधिक घर होने पर आइटीआर 1 में रिटर्न नहीं दाखिल किया जा सकता है|
4. इनकम टैक्स रिटर्न में मिलने वाली कटौती से गलत राशि का लाभ लेना उदाहरण के लिए
धारा 80 सी मैं अधिकतम दो बच्चों की केवल स्कूल या कॉलेज की ट्यूशन फीस की कटौती
मिलती है न की बस, लंच, कोचिंग, फीस या अन्य प्रकार की फीस की |
5… यदि रिटर्न दाखिल करने वाला करदाता व्यवसाई है तो उन्हें रिटर्न में जीएसटी का
रजिस्ट्रेशन नंबर देना होता है इन्हें इनकम टैक्स रिटर्न में जो टर्नओवर दे रही है उनका मिलान
अपने जीएसटी के टर्नओवर के साथ अवश्य करना चाहिए | इसमें चूक होने पर दोनों विभाग से
नोटिस आ सकता है |
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