प्रधानमंत्री मोदी राम मंदिर की नींव रखने के लिए अगस्त में अयोध्या जा सकते हैं
प्रधानमंत्री को भेजी गई आमंत्रण की चिट्ठी में श्रावणी पूर्णिमा के मुहूर्त का जिक्र है. अब प्रधानमंत्री कार्यालय को इस पर पीएम मोदी की उपलब्धता की जानकारी देनी है.

- राम मंदिर भूमि पूजन के लिए अयोध्या जाएंगे पीएम!
- 3 या 5 अगस्त को अयोध्या जा सकते हैं PM मोदी
- राम मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष ने पत्र लिख कर दिया था निमंत्रण
नई दिल्ली: राम मंदिर निर्माण के लिए भूमि पूजन जल्दी हो सकता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पास भूमि पूजन की एक और तारीख का विकल्प भेजा गया है। राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र न्यास के सूत्रों के अनुसार प्रधानमंत्री को जो आमंत्रण भेजा गया है उसमें श्रावणी पूर्णिमा के मुहूर्त का जिक्र किया गया है, जिस पर प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से पीएम मोदी की उपलब्धता की जानकारी दिया जाना बाकी है।
भूमि पूजन को लेकर न्यास के एक अन्य सदस्य के मुताबिक प्रधानमंत्री को आमंत्रित भेजा गया है उन्होंने बताया कि तब तक कोरोना संकट भी काफी हद तक कम हो जाएगा। इसके अलावा इसमें कोई व्यवहारिक या तकनीकी अड़चन आएगी तो अनन्त चतुर्थी का मुहूर्त भी एक विकल्प है।
3 या 5 अगस्त को अयोध्या जा सकते हैं PM
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के आठवें माह में अब राममंदिर निर्माण शुरू होने की शुभ घड़ी आने वाली है. भूमि पूजन के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीन या पांच अगस्त को अयोध्या जा सकते हैं. इसकी विस्तृत रूपरेखा के साथ घोषणा ट्रस्ट की 18 जुलाई की बैठक में हो सकती है. श्रीरामजन्मभूमि ट्रस्ट के सूत्रों के अनुसार अयोध्या में राम मंदिर के गर्भगृह में भूमि पूजन करके प्रधानमंत्री भव्य मंदिर निर्माण की विधिवत शुरुआत करेंगे.
18 तारीख की बैठक की तैयारी शुरू
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की बैठक 18 जुलाई को होगी। इसकी तैयारी अंदर खाने में शुरू कर दी गई है। ट्रस्ट के महामंत्री चंपत राय के मुताबिक, निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्रा बुधवार की देर शाम अयोध्या पहुंच सकते हैं। इसी के साथ बैठक की तैयारियां भी शुरू हो जाएंगी।
माना जा रहा है कि अयोध्या में होने वाली इस पहली बैठक में मंदिर निर्माण शुरू करने की तिथि तय की जा सकती है। इसका आगाज प्रधानमंत्री मोदी को करना है। बैठक के 3 सदस्य के.पराशरण, प्रयागराज के स्वामी वासुदेवानंद सरस्वती तथा पेजावर मठ उडपी के जगतगुरु माधवाचार्य स्वामी, विश्व प्रपन्नाचार्य महाराज वर्चुअल तरीके से बैठक में हिस्सेदारी निभाएंगे।